महाकाल मंदिर का अन्न क्षेत्र 5 स्टार होटल जैसा:सब्जी कटने से लेकर बर्तन धोने के काम मशीनों से; एक लाख लोग कर सकेंगे भोजन

उज्जैन स्थित महाकाल मंदिर में हाईटेक अन्न क्षेत्र तैयार किया गया है। दिखने में यह किसी फाइव स्टार होटल से कम नहीं है। 50 हजार वर्गफीट में बने विशाल अन्नक्षेत्र की लागत 27 करोड़ रुपए है। दो मंजिला भवन में दिनभर में एक लाख लोग भोजन कर सकेंगे। फिलहाल यह व्यवस्था नि:शुल्क रहेगी।

खास बात है कि इसमें सब्जी काटने से लेकर खाना बनाने और बर्तन धोने तक सभी काम मशीनों से होगा। यानी ये पूरी तरह ऑटोमैटिक होगा। अहमदाबाद और चेन्नई से हाईटेक मशीनें मंगवाई गई हैं। नए भवन में एक साथ करीब 8 से 9 हजार श्रद्धालु भोजन कर सकेंगे। दावा है कि ये देश का सबसे बड़ा और हाईटेक अन्न क्षेत्र है। 22 सितंबर को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान इस भोजनशाला का लोकार्पण करेंगे।

महाकाल मंदिर में बन रहे इस विशाल अन्न क्षेत्र में पहुंची। यहां की खासियत और भक्तों को मिलने वाली सुविधाओं के बारे में जाना। आपको बताते हैं अन्न क्षेत्र की विशेषताएं और इसमें क्या सुविधाएं रहेंगी।

महाकाल मंदिर की पार्किंग में विशाल अन्न क्षेत्र बनाया गया है। बाहर से अन्न क्षेत्र ऐसा दिखता है।
महाकाल मंदिर की पार्किंग में विशाल अन्न क्षेत्र बनाया गया है। बाहर से अन्न क्षेत्र ऐसा दिखता है।

पहले जानिए, कैसा है महाकाल मंदिर का अन्न क्षेत्र

मंदिर के पार्किंग क्षेत्र में यह अन्न क्षेत्र बनाया गया है। महाकाल मंदिर विस्तारीकरण फेज 2 के तहत दो साल पहले यानी 2021 में इसे बनाने की शुरुआत की गई थी। उद्देश्य है कि मंदिर में आया कोई भी श्रद्धालु भूखा नहीं जाए और उसे भोजन के लिए भटकना नहीं पड़े। भोजनशाला करीब 50 हजार वर्गफीट पर बनी है। अन्न क्षेत्र दो मंजिला है।

पहला ग्राउंड फ्लोर पर अंदर जाते ही होटल जैसा बड़ा लॉन है। यहां श्रद्धालु बैठकर इंतजार कर सकेंगे। इसके बाद बना है विशाल डाइनिंग हॉल। डाइनिंग हॉल में करीब 4500 लोगों के बैठने की व्यवस्था है। दोनों फ्लोर पूरी तरह एयर कंडीशन हैं। यहां तीन बड़ी लिफ्ट लगी हैं। इनमें दो लिफ्ट श्रद्धालुओं के लिए है। वहीं, तीसरी बड़ी लिफ्ट सामान लाने ले-जाने के लिए है।

दोनों मंजिलों पर दो किचन

ग्राउंड और फर्स्ट फ्लोर पर एक जैसी व्यवस्था है। ऊपर भी इतना ही बड़ा डायनिंग हॉल है। दोनों मंजिलों पर दो बड़े किचन हैं। दोनों किचन में हर काम के लिए अलग-अलग मशीनें इंस्टॉल हैं। यानी पूरी तरह ऑटोमैटिक। करीब 5 करोड़ की लागत से अहमदाबाद से मशीनें मंगवाई गई हैं। हालांकि, अभी इन मशीनों को इंस्टॉल किया जाना है। इन सभी मशीनों को जरूरत के मुताबिक मॉडिफाई और कस्टमाइज भी कराया गया है।

दोनों मंजिलों को मिलाकर करीब 9 हजार लोगों के एक साथ भोजन करने की व्यवस्था है। बड़े-बड़े वॉशरूम भी हैं। पीने के पानी के लिए बड़े वाटर कूलर लगे हैं। सामान रखने के लिए विशाल स्टोर रूम भी है। इसके अलावा, 50 वीआईपी भक्तों के भोजन की व्यवस्था भी है।

अन्न क्षेत्र में दूसरे राज्यों से खाना बनाने की मशीनें मंगवाई गई हैं। ये आटा गूंथने की मशीन है, जिसमें आटा और पानी डालने के बाद आटा अपने आप गुंथ जाएगा।
अन्न क्षेत्र में दूसरे राज्यों से खाना बनाने की मशीनें मंगवाई गई हैं। ये आटा गूंथने की मशीन है, जिसमें आटा और पानी डालने के बाद आटा अपने आप गुंथ जाएगा।

सब्जी कटना, रोटियां बनना और बर्तन धुलना भी ऑटोमैटिक

  • एक मशीन में सब्जी डाल दी जाएगी, जिसमें से धुलकर सब्जी खुद-ब-खुद बाहर आ जाएगी।
  • सब्जी काटने के लिए दूसरी मशीन में डाल दी जाएगी।
  • सब्जी पकाने के लिए तीसरी मशीन में उसे डाला जाएगा। मसालों के लिए मशीन में अलग-अलग बॉक्स लगे हैं। इनकी मदद से नपे-तुले मसाले सब्जी में डाले जाएंगे।
  • सब्जी में पानी डालने के लिए अलग से कंटेनर लगे हैं।
  • अब रोटियों की मशीन में आटा डालेंगे। पानी डालते ही थोड़ी देर में गुंथा हुआ आटा निकल आएगा।
  • अब रोटी मशीन की मदद से आटे की लोई तैयार होगी। यहीं से लोई रोटी मशीन में चली जाएगी।
  • ऑटोमैटिक भट्‌टी में लोई से रोटियां सिंककर बाहर आ जाएंगी।
  • बर्तन धोने के लिए अलग से डिश वॉशर मशीन है, जिसमें बर्तन डालते ही अपने आप धुल जाएंगे। इसे चेन्नई से मंगवाया गया है।
अन्नक्षेत्र में तीन लिफ्ट लगाई गई हैं। इनमें दो लिफ्ट श्रद्धालुओं और एक बड़ी लिफ्ट सामान लाने और ले-जाने के लिए होगी।
अन्नक्षेत्र में तीन लिफ्ट लगाई गई हैं। इनमें दो लिफ्ट श्रद्धालुओं और एक बड़ी लिफ्ट सामान लाने और ले-जाने के लिए होगी।

भोजन परोसने की व्यवस्था ऐसी होगी

अन्न क्षेत्र में एक लाख लोगों के लिए भोजन प्रसादी तैयार और परोसने की जिम्मेदारी 80 लोगों के पास होगी। इसमें 50 लोग खाना बनाने का काम करेंगे। वहीं, भोजन-प्रसादी को परोसने के लिए समेत अन्य जिम्मेदारियों के लिए 30 लोग तैनात रहेंगे। अन्न क्षेत्र में भोजन बनाने के लिए CNG का इस्तेमाल किया जाएगा।

महाकाल लोक बनने के बाद महसूस कर रहे थे जरूरत

महाकाल लोक बनने के बाद से ही बड़े अन्न क्षेत्र की जरूरत महसूस की जा रही थी। इंदौर के कारोबारी विनोद अग्रवाल इसके लिए आगे आए। डिजाइन फाइनल होने के बाद मंदिर समिति को बिल्डिंग को बनाने के लिए सहमति दे दी। विनोद अग्रवाल ने दो मंजिला अन्न क्षेत्र के लिए 22 करोड़ रुपए मंदिर समिति को दिए हैं। साथ ही, गुड़गांव के प्रवीण अरोरा ने 5 करोड़ रुपए अन्य सामान के लिए दिए हैं। महाकालेश्वर मंदिर समिति इस भोजनशाला का संचालन करेगी।

अन्न क्षेत्र में विशाल रसोई बनाई गई है। इसमें खाना बनाने की मशीनें इंस्टॉल करने का काम किया जा रहा है।
अन्न क्षेत्र में विशाल रसोई बनाई गई है। इसमें खाना बनाने की मशीनें इंस्टॉल करने का काम किया जा रहा है।

सुबह 10:30 से रात 9 बजे तक खुला रहेगा

अन्न क्षेत्र फिलहाल सभी भक्तों के लिए सुबह 10:30 बजे से रात 9 बजे तक खुला रहेगा। मंदिर समिति का कहना है कि इसका समय बढ़ाया भी जा सकता है। अलग-अलग शिफ्ट में भोजन कराया जाएगा।

इसलिए हर काम के लिए लगानी पड़ी मशीनें

मंदिर प्रशासक संदीप सोनी ने बताया कि महाकाल लोक बनने के बाद से भक्तों की संख्या बहुत बढ़ गई है। वर्तमान में रोजाना एक से डेढ़ लाख श्रद्धालु दर्शनों के लिए आ रहे हैं। इतने लोगों का खाना एक साथ बनाना बड़ी चुनौती थी, इसलिए हाईटेक मशीनों का इस्तेमाल किया जा रहा है, ताकि कम से कम मैन पावर में प्रसादी तैयार की जा सके।

पहले 3 हजार भक्त करते थे भोजन

महाकाल मंदिर में आने वाले भक्तों के लिए पहले महाकाल मंदिर परिसर में छोटा अन्न क्षेत्र था। इसमें मंदिर समिति द्वारा नि:शुल्क अन्न क्षेत्र का संचालन किया जाता था। इस अन्न क्षेत्र में प्रतिदिन 3 से 5 हजार श्रद्धालु महाप्रसादी ग्रहण करते थे, लेकिन विस्तारीकरण की वजह से इसे तोड़ दिया गया। इसके बाद अन्न क्षेत्र का संचालन बंद हो गया। इसकी वजह से श्रद्धालुओं को मंदिर के आसपास की होटल व रेस्टोरेंट में भटकना पड़ रहा है।

अन्न क्षेत्र में विशाल डायनिंग हॉल बनाया गया है। इसमें एक साथ करीब 4500 लोगों के बैठने की व्यवस्था है।
अन्न क्षेत्र में विशाल डायनिंग हॉल बनाया गया है। इसमें एक साथ करीब 4500 लोगों के बैठने की व्यवस्था है।

देश का सबसे हाईटेक अन्न क्षेत्र

मंदिर प्रशासक संदीप सोनी के मुताबिक सबसे बड़े मंदिर शिरडी, तिरुपति बालाजी और बंगला साहेब समेत अन्य तीर्थ स्थलों पर जो अन्न क्षेत्र संचालित हैं, उनके मुकाबले यह अन्न क्षेत्र बहुत हाईटेक है। देश में जहां भी जो उपकरण बेस्ट मिलते हैं, वहां से उन्हें लाया गया है। जैसे- कोयम्बटूर से वैजल्स, कढ़ाही और प्रेशर कुकर आए हैं। अहमदाबाद से रोटी मशीन और चेन्नई से डिश वॉशर मशीन मंगाई गई है।

22 सितंबर को सीएम शिवराज करेंगे लोकार्पण

इस हाईटेक अन्न क्षेत्र का लोकार्पण 22 सितंबर को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान करेंगे। इसी दिन मुख्यमंत्री हरि फाटक पार्किंग की भी शुरुआत करेंगे। सीएम 2,250 कमरों के नए बनने वाले भक्त निवास की प्लानिंग भी देखेंगे।

मुख्यमंत्री यहां एक हजार करोड़ से अधिक के निर्माण कार्यों का लोकार्पण और भूमिपूजन करेंगे। इस दौरान सभा भी होगी, जिसमें हर मंडल से कार्यकर्ता पहुंचेंगे। इसमें फैसिलिटी सेंटर, अन्न क्षेत्र, पार्किंग, भक्त निवास और प्लास्टिक क्लस्टर जैसी 700 करोड़ रुपए से अधिक की योजनाएं शामिल हैं।

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